खबरगुरू (रतलाम) 19 मई। रतलाम के बिलपांक के पास स्थित चिकलिया टोल प्लाजा की ओर से सुनील गुर्जर के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज करवाई गई है। सुनील गुर्जर पर अवैध वसूली, टोल स्टाफ को गुमराह करने, राजस्व को नुकसान पहुंचाने, स्टाफ को जान से मारने की धमकी देने और अश्लील गाली गलौज करने संबंधी गंभीर आरोप लगे हैं। पुलिस ने शिकायत को दर्ज कर लिया है और मामले की जांच में जुट गई है। सुनील गुर्जर रतलाम ग्रामीण मथुरालाल डामर का करीबी बताया जाता है। । पार्टी के कई नेताओं के साथ सुनील के फोटो देखे जाते है।
टोल प्लाजा के मैनेजर अमित गुप्ता, प्रोजेक्ट मैनेजर संतोष शर्मा, सतीश सिरसाट प्लाजा मैनेजर, प्रदीप सिंह असिस्टेंट प्लाजा मैनेजर ने थाने में रिपोर्ट दर्ज करवाते हुए बताया है कि रतलाम के ग्राम जमुनिया निवासी सुनील गुर्जर टोल प्लाजा पर अवैध रुपए की मांग कर रहा है। सुनील के द्वारा प्रतिमाह पचास हजार रुपए की मांग की जा रही है। टोल मैनेजर और उनके साथियों द्वारा शिकायत में बताया गया है कि एसकेएम कॉन्ट्रैक्ट एंड सर्विसेज प्राइवेट लिमिटेड द्वारा शुल्क संग्रहण का कार्य 1 फरवरी 2024 से किया जा रहा है, तभी से सुनील गुर्जर पिता अमर सिंह निवासी ग्राम जमुनिया तहसील जिला रतलाम द्वारा टोल प्लाजा से 50 हजार रुपए मासिक धनराशि का दबाव बनाया जा रहा है। सुनील गुर्जर द्वारा धमकी दी गई है पैसे नहीं देने पर टोल प्लाजा पर किसी को भी यह काम नहीं करने देगा और निरंतर टोल संचालक में बाधा डालेगा।
टोल मांगने पर करता है अश्लील गाली गलौज
शिकायत में बताया गया है कि सुनील गुर्जर पूर्व में भी टोल प्लाजा पर कई बार वाहनों को जबरन निकालकर अवैध वसूली करता आया है। यदि कोई टोल स्टाफ वाहन चालक से टोल शुल्क लेने का आग्रह करता है तो सुनील गुर्जर फोन से स्टाफ के साथ अश्लील गाली गलौज भी करता है। शिकायत में सुनील गुर्जर द्वारा टोल पर कई बार हंगामा करने की बात भी कही गई है। सुनील गुर्जर द्वारा टोल पर कर्मचारियों की नियुक्ति में भी बाधा डालता है उसके द्वारा अपने पहचान के लोगों को टोल पर रखने की बात कही जाती है। जब उसकी अनैतिक मांग को स्वीकार नहीं किया गया तो सुनील गुर्जर द्वारा 8 मई शाम लगभग 4 बजे टोल प्लाजा पर आकर स्टाफ को गुमराह किया और उन्हे ड्यूटी पर जाने से रोका गया। परिणाम स्वरुप टोल बंद हो गया और कई घंटे तक टोल फ्री कर दिया गया। जिससे सरकारी राजस्व को हानि हुई है। शिकायत पर पुलिस के द्वारा धारा 308 (2), 296, 351 (2) के तहत अपराध पंजीबद्ध कर लिया गया है।