खबरगुरु (रतलाम) 22 अगस्त। टमाटर की बढ़ी कीमतों पर हुए बवाल से सबक लेते हुए, केंद्र सरकार प्याज के दाम को नियंत्रित करने में लग गयी है। सरकार के प्याज पर 40 प्रतिशत निर्यात शुल्क लगाने के फैसले से किसान और व्यापारी नाराज हो गये हैं। रतलाम जिले में प्याज उत्पादक किसान और विभिन्न किसान संगठनों ने विरोध प्रदर्शन किया। मंगलवार को महू रोड स्थित मंडी का गेट बंद कर दिया। नीलामी कार्य भी नहीं हुआ। प्याज पर लगाया गया निर्यात शुल्क वापस लेने की मांग को लेकर प्रदर्शन किया। यहां मंडी में प्याज़ की नीलामी होती है, लेकिन किसानों और विभिन्न संगठन के प्रदर्शन के चलते ये बाजार बंद रखा गया है।
विरोध कर रहे किसानों और नेताओं का कहना है कि केंद्र सरकार द्वारा निर्यात शुल्क 40 प्रतिशत किये जाने से किसानों को नुकसान हो रहा है। प्याज की कीमतों में कमी आ गई है। जिसकी वजह से किसानों को नुकसान उठाना पड़ रहा है। मंगलवार को बढ़ी संख्या में किसानों और विभिन्न संगठनों के सदस्यों ने मंडी में प्रदर्शन किया।
किसानों को 2 दिन पूर्व जहां प्रति क्विंटल प्याज पर 2800 रुपये प्राप्त हो रहे थे। वहीं, निर्यात शुल्क लगाए जाने के बाद दाम घटकर 1600 से 1700 रुपए प्रति क्विंटल ही रह गया है। बढ़ाया गया निर्यात शुल्क 31 दिसंबर 2023 तक लागू रहेगा। इस संबंध में भारत सरकार के वित्त मंत्रालय द्वारा राज पत्र भी जारी किया गया है। नाराज किसानों का कहना है कि किसानों को नुकसान हो रहा है।
आंदोलन और किसानों के आक्रोश को देखते हुए मंडी गेट के बाहर भारी पुलिस बल मौजूद रहा।