खबरगुरु (नई दिल्ली) 26 जुलाई। 21 साल पहले 26 जुलाई को भारतीय सेना ने वो शौर्य और पराक्रम दिखाया था जिसका इतिहास में कोई मुकाबला नहीं है। करगिल विजय के आज 21 साल पूरे हो गए हैं। 1999 में आज ही के दिन भारतीय सेना ने इस युद्ध में विजय हासिल की थी। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, सीडीएस बिपिन रावत और तीनों सेना के प्रमुख दिल्ली के नेशनल वॉर मेमोरियल में अमर शहीदों को श्रद्धांजलि दी।
ऑपरेशन विजय का इतिहास रचा
दुश्मन ने जिन चोटियों पर कब्जा किया हुआ था, वहां 18 हजार फीट की ऊंचाई पर तिरंगा लहराने के लिए भारतीय सेना के शूरवीरों ने ऑपरेशन विजय का इतिहास रचा। दुश्मन को करगिल से खदेड़कर हम सबको गौरवान्वित किया। पाकिस्तान के सैनिकों को मार गिराकर उन पहाड़ों पर कब्जा करना कितना मुश्किल रहा होगा हम और आप सिर्फ अंदाजा ही लगा सकते हैं। देश आज विजय पर्व मना रहा है। 1999 में जून-जुलाई के बीच भारतीय सैनिकों के अदम्य साहस के बीच पाकिस्तान ने घुटने टेक दिए थ। इस दौरान करीब 3 हजार सैनिकों को भारतीय सेना ने मार गिराया था।
ट्वीट कर नमन किया
विजय दिवस के मौके पर देश के उपराष्ट्रपति वेंकैय्या नायडू ने शहीदों को नमन किया। उन्होंने ट्वीट कर लिखा आज ‘ऑपरेशन विजय’ की 21वीं वर्षगांठ के अवसर पर भारतीय सेना के शौर्य को सादर नमन करता हूं, जिसके साहस और वीरता ने कारगिल युद्ध में, राष्ट्र के लिए विजय कीर्ति अर्जित की।
गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि करगिल विजय दिवस भारत के स्वाभिमान, अद्भुत पराक्रम और दृढ़ नेतृत्व का प्रतीक है। मैं उन शूरवीरों को नमन करता हूं, जिन्होंने अपने अदम्य साहस से करगिल की दुर्गम पहाड़ियों से दुश्मन को खदेड़ कर वहां पुनः तिरंगा लहराया। मातृभूमि की रक्षा के लिए समर्पित भारत के वीरों पर देश को गर्व है।