🔴 43 ग्रामीण बैंकों के 600 जिलों में कार्यरत कर्मचारी हड़ताल में होंगे शामिल
खबरगुरु (रतलाम) 22 सितंबर। ऑल इंडिया रीजनल रूरल बैंक इंप्लाइज एसोसिएशन के आह्वान पर आगामी 23 सितंबर को देश भर के ग्रामीण बैंकों के 95 हजार पदाधिकारी एवं कर्मचारी हड़ताल पर जाने का आह्वान किया है। यह जानकारी ऑल इंडिया रीजनल रूरल बैंक इंप्लाइज एसोसिएशन के मध्यप्रदेश के प्रांतीय सविच के.के.गौर ने दी है। उन्होंने कहा कि 11 सूत्रीय मांगों के समर्थन में सभी 43 ग्रामीण बैंकों के 600 जिलों में कार्यरत 22000 शाखाओं के 95000 से अधिक अधिकारी एवं कर्मचारी इस सांकेतिक हड़ताल में शामिल होंगे।
110 से ज्यादा सांसदों को दिया जा चुका है ज्ञापन
ग्रामीण बैंकों को अपनी वैधानिक आवश्यकताएं के लिए आवश्यक पूंजी जुटाने के लिए शेयर बाजार के माध्यम से आईपीओ पूंजी जुटाने का निर्देश भारत सरकार ने जारी किया गया है। एक सौ करोड़ आबादी के लिए एक बैंक स्थापित करने की मांग कर रही है। इस मांग को लेकर कई बार दिल्ली एवं अन्य स्थानों पर एक दिवसीय धरना दिया गया तथा एक सौ से ज्यादा सांसदों को इस संबंध में ज्ञापन दिया दिया जा चुका है। जबकि एसोसिएशन सभी ग्रामीण बैंकों को एक करते हुए भारतीय राष्ट्रीय ग्रामीण बैंक बनाकर ग्रामीण भारत से सीधा जुड़ी 100 करोड़ आबादी के लिए बैंक स्थापित करने की मांग कर रहा है। मांग को लेकर 12 अगस्त 2022 को दिल्ली जंतर मंतर में धरना किए गए दिया गया था और अभी तक देश भर में 110 से ज्यादा सांसदों को ज्ञापन दिया जा चुका है।
प्रमुख मांगे
इसी के साथ 30,000 से ज्यादा रिक्त पदों पर भर्ती, 20,000 से ज्यादा दैनिक वेतन पर कार्य कर रहे स्थाई कर्मचारियों का नियमितीकरण, मृतक आश्रित सेवा योजना को वर्ष 2014 से लागू करना, नई पेंशन योजना को वापस लेना, बैंकिंग पेंशन नियम वर्ष 1993 को ग्रामीण बैंकों में वर्ष 1993 से प्रभावी करना, सेवा शर्तो एवं प्रमोशन नीति को बैंकिंग उद्योग अनुसार समान रूप से लागू करना आदि प्रमुख मांगे शामिल है।
मांगों का निराकरण नहीं किया तो की जाएगी अनिश्चितकालीन हड़ताल
उपरोक्त आह्वान के तहत मध्य प्रदेश ग्रामीण बैंक के प्रधान कार्यालय इंदौर एवं सभी 14 क्षेत्रीय कार्यालय पर 23 सितंबर को हड़ताली अधिकारी, कर्मचारी 11 बजे से प्रदर्शन करेंगे एवं बैंक अध्यक्ष को प्रधान कार्यालय में तथा सभी 14 क्षेत्रीय कार्यालय से क्षेत्रीय प्रबंधन को ज्ञापन देंगे । ज्ञापन भारत सरकार को संबोधित है जिसे बैंक के अध्यक्ष तथा क्षेत्रीय प्रबंधकों द्वारा अग्रेषित किया जाएगा। गौर ने कहा कि यदि भारत सरकार ने मांगों का निराकरण नहीं किया तो अनिश्चितकालीन हड़ताल की जाएगी।